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Jharkhand Prevention of Lynching Bill 2021: विधानसभा द्वारा विधेयक को पारित करने पर पश्चिम बंगाल के बाद झारखंड ऐसा दूसरा प्रदेश हो जाएगा, जहां मॉब लिंचिंग की घटना में पीड़ित की मौत होने पर दोषियों के खिलाफ मृत्युदंड का प्रावधान होगा. इस विधेयक में अन्य सजाओं का भी उल्लेख है. प्रदेश सरकार का कहना है कि झारखंड के लोगों के संवैधानिक अधिकारों की रक्षा के लिए यह विधेयक लाया जा रहा है.
रांची. झारखंड की हेमंत सोरेन सरकार मॉब लिंचिंग की घटनाओं को रोकने के लिए बेहद गंभीर है. प्रदेश सरकार ने मॉब लिंचिंग रोकथाम विधेयक 2021 का मसौदा तैयार किया है. झारखंड (लिंचिंग रोकथाम) विधेयक 2021 (Jharkhand (Prevention of Lynching) Bill-2021) के मसौदे में मौत की स्थिति में मृत्युदंड का प्रावधान किया गया है. यदि विधानसभा से यह कानून पास हो जाता है तो पश्चिम बंगाल के बाद झारखंड ऐसा दूसरा प्रदेश बन जाएगा, जहां मॉब लिंचिंग में मौत होने पर डेथ पेनाल्टी का प्रावधान होगा. ड्रॉफ्ट में कहा गया है कि झारखंड सरकार प्रदेश के लोगों के संवैधानिक अधिकारों की रक्षा के लिए यह विधेयक लाने जा रही है. इस विधेयक में दोषियों के खिलाफ सजा के अन्य प्रावधान भी किए गए हैं.
पिछले कुछ दिनों में भीड़ के हिंसक होने के कई मामले सामने आ चुके हैं. यह सरकार के साथ ही स्थानीय प्रशासन के लिए भी चिंता का सबब बना हुआ है. झारखंड सरकार ने इस तरह के मामलों से सख्ती से निपटने के लिए मॉब लिंचिंग रोकथाम कानून लाने का फैसला किया है. इस विधेयक के मसौदे में दोषियों के लिए सजा का सख्त प्रावधान किया गया है. ऐसे मामलों में दोषी पाए जाने वालों के खिलाफ मौत की सजा का प्रावधान किया गया है, ताकि भीड़ द्वारा की जाने वाली हिंसा पर अंकुश लगाया जा सके. प्रक्रिया के तहत विधेयक के मसौदे को स्वीकृति के लिए गृह विभाग के पास भेजा जाएगा. उसके बाद मंजूरी के लिए कैबिनेट के समक्ष रखा जाएगा. कैबिनेट से हरी झंडी मिलने के बाद इसे विधानसभा में पेश किया जाएगा.