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NV News Mungeli :छत्तीसगढ़ के सुकमा और बीजापुर जिलों की सीमा से सटे तेलंगाना के भद्राद्री कोठागुडेम जिले में एक बड़े ऑपरेशन के तहत 64 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण कर दिया। यह आत्मसमर्पण तेलंगाना पुलिस मुख्यालय में मल्टी जोन-1 के आईजीपी चंद्रशेखर रेड्डी की उपस्थिति में हुआ। आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों में बीजापुर और सुकमा के विभिन्न नक्सल बटालियनों के सदस्य शामिल हैं, जिनमें डीवीसीएम, एसीएम, मिलिशिया और पीपीसीएम जैसे पदों पर कार्यरत नक्सली हैं। इस ऑपरेशन में छह महिला नक्सलियों का भी समर्पण हुआ है।
पुलिस के अनुसार, पिछले तीन महीनों में कुल 122 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया है, जो इस अभियान की सफलता का संकेत है। आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों को 25-25 हजार रुपये की प्रोत्साहन राशि प्रदान की गई। पुलिस के अधिकारियों का मानना है कि यह कदम नक्सलवाद पर लगाम लगाने और आदिवासी क्षेत्रों को मुख्यधारा से जोड़ने में महत्वपूर्ण साबित होगा।
आईजी चंद्रशेखर रेड्डी ने इस मौके पर कहा कि नक्सली हिंसा और उग्रवाद से दूर रहने का यह सही समय है और पुलिस सरकार द्वारा दिए गए पुनर्वास नीति के तहत उन्हें एक बेहतर भविष्य का अवसर प्रदान करेगी। साथ ही उन्होंने उन नक्सलियों से अपील की, जो अब भी जंगलों में हैं, कि वे आत्मसमर्पण कर समाज की मुख्यधारा में लौटें।
इस आत्मसमर्पण के साथ ही पुलिस का कहना है कि इस क्षेत्र में नक्सलियों की गतिविधियों में कमी आएगी और आदिवासी क्षेत्रों में शांति स्थापित करने में मदद मिलेगी। पुलिस प्रशासन इस दिशा में लगातार काम कर रहा है और आने वाले समय में नक्सलवाद के खात्मे के लिए और कड़े कदम उठाए जाएंगे।
सुकमा और बीजापुर के नक्सलियों का आत्मसमर्पण निश्चित रूप से छत्तीसगढ़ और तेलंगाना के संयुक्त सुरक्षा प्रयासों की सफलता को दर्शाता है और यह दोनों राज्यों के प्रशासन के लिए एक बड़ी जीत मानी जा रही है।