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N.V.News जम्मू कश्मीर: राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा कन्याकुमारी से चलकर जब कश्मीर पहुंची तो राहुल गांधी ने कश्मीर में आयोजित सभा में भरी बर्फबारी के बीच जनता को संबोधित कर रहे थे. राहुल गांधी की अगुवाई में पदयात्रियों ने लगभग 4000 किलोमीटर की पदयात्रा की है. राहुल गांधी ने सभा को संबोधित करते हुए कश्मीरियत पर अपने विचार रखे।
कश्मीरियत क्या है:
जिस चीज को आप कश्मीरियत कहते हैं, उसे मैं घर मानता हूं. ये कश्मीरियत है क्या? ये शिवजी की सोच है, एक तरफ और गहराई में जाएंगे, तो शून्यता कहा जा सकता है. अपने आप पर अपने अहंकार पर, अपने विचारों पर आक्रमण करना. दूसरी तरफ इस्लाम में फना कहा जाता है. सोच वही है. इस्लाम में फना का मतलब अपने ऊपर आक्रमण, अपनी सोच पर आक्रमण. जो हम किला बना देते हैं, मैं ये हूं. मेरे पास ये है. उसी किले पर आक्रमण कर शून्यता है. वह फना है. इस धरती पर दो विचारधाराएं हैं, इनके बीच सालों से रिश्ता है. इसे हम कश्मीरियत कहते हैं. लोगों को जोड़ना, दूसरों पर आक्रमण न करना, अपनी कमी देखना कश्मीरियत है।