धर्मांतरण को लेकर बढ़ा विवाद, ग्रामीणों के आक्रोश के बाद तोड़फोड़, गांव में भारी पुलिस बल तैनात

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कांकेर। जिले के अंतर्गत आने वाले ग्राम पंचायत उसेली के आश्रित ग्राम पूसागांव में धर्मांतरण को लेकर हालात तनावपूर्ण हो गए। आमाबेड़ा और तेवड़ा गांव के बाद अब पूसागांव में भी मतांतरण को लेकर विवाद सामने आया है। जानकारी के अनुसार गांव में एक आंगनबाड़ी कार्यकर्ता समेत कुछ परिवारों के धर्मांतरण की घटना के बाद ग्रामीणों में नाराजगी फैल गई।

बताया जा रहा है कि धर्मांतरण की जानकारी मिलने के बाद ग्रामीणों ने एक बैठक आयोजित की, जिसमें धर्मांतरित परिवारों को भी आमंत्रित किया गया था। बैठक के दौरान ग्रामीणों ने उनसे अपने मूल धर्म में वापस लौटने की अपील की, लेकिन संबंधित परिवारों ने इस पर सहमति नहीं जताई। इसी बात से नाराज ग्रामीणों के एक समूह ने आंगनबाड़ी कार्यकर्ता समेत धर्मांतरित लोगों के घरों की ओर जाकर तोड़फोड़ शुरू कर दी।

घटना की सूचना मिलते ही पुलिस अधीक्षक निखिल राखेचा पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंचे। उन्होंने गांव का जायजा लिया और ग्रामीणों व जनप्रतिनिधियों से संवाद कर स्थिति को शांत करने का प्रयास किया। पुलिस के समय पर पहुंचने से बड़ी हिंसक घटना टल गई और किसी तरह की जनहानि नहीं हुई।

 

गांव में तनाव, छावनी में तब्दील हुआ इलाका

घटना के बाद पूसागांव में तनाव का माहौल बना हुआ है। हालात की गंभीरता को देखते हुए गांव के भीतर और बाहरी सीमा पर भारी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया है। प्रशासन ने किसी भी बाहरी व्यक्ति के गांव में प्रवेश और अफवाह फैलने की आशंका को देखते हुए सतर्कता बढ़ा दी है।

 

आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को हटाने की मांग

ग्रामीणों का आरोप है कि जिस आंगनबाड़ी कार्यकर्ता पर धर्मांतरण का आरोप है, उसे तत्काल पद से हटाया जाए। ग्रामीणों का कहना है कि सरकारी पद पर रहते हुए इस तरह की गतिविधियां गांव की सामाजिक समरसता और पारंपरिक मूल्यों को प्रभावित करती हैं। इस संबंध में ग्रामीण पहले भी प्रशासन को ज्ञापन सौंप चुके हैं।

 

लगातार बढ़ रहे विवाद, प्रशासन के लिए चुनौती

गौरतलब है कि कांकेर जिले के अंदरूनी इलाकों में बीते कुछ समय से धर्मांतरण को लेकर लगातार विवाद और झड़पों की घटनाएं सामने आ रही हैं। बड़ेतेवड़ा, आमाबेड़ा और अब पूसागांव की घटनाओं ने प्रशासन की चिंता बढ़ा दी है। अधिकारियों को आशंका है कि छोटी-सी घटना भी बड़े टकराव का रूप ले सकती है।

 

हालात नियंत्रण में, अफवाह फैलाने पर सख्ती

पुलिस अधिकारियों का कहना है कि स्थिति फिलहाल पूरी तरह नियंत्रण में है। सभी पक्षों से बातचीत कर कानून के दायरे में समाधान निकालने का प्रयास किया जा रहा है। प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि कानून हाथ में लेने वालों और अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ सख्त वैधानिक कार्रवाई की जाएगी। ग्रामीणों से शांति बनाए रखने और प्रशासन का सहयोग करने की अपील की गई है।

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